भारत का पहला क्रिप्टोकरेंसी इंडेक्स IC15 हुआ लॉन्च

Cryptocurrency kya hai? यह कितने प्रकार के होते हैं?

Cryptocurrency kya hai? यह कितने प्रकार के होते हैं? : Currency अर्थात मुद्रा का प्रयोग हम या आप क्रय और विक्रय करने के लिए करते हैं ताकि अपनी दैनिक जरूरतों को पूरा कर सकें. मुद्रा के रूप में हमारे पास सिक्के होते हैं या कागज के नोट. विनिमय के माध्यम के रूप में दुनिया के प्रत्येक देशों के पास अपनी – अपनी मुद्रा है. भारत की मुद्रा को हम रुपया या पैसा के नाम से जानते हैं.

रुपया या पैसा जिसे हम देख सकते हैं, छू सकते हैं क्योंकि यह एक भौतिक मुद्रा है जिससे आप भलीभांति परिचित हैं किन्तु क्या आपने कभी cryptocurrency (क्रिप्टोकरेंसी) के बारे में सुना है जो एक डिजिटल या आभासी मुद्रा है और इसका भी इस्तेमाल एक्सचेंज के माध्यम के रूप में किया जाता है.

आमतौर पर जैसा कि हम सभी को ज्ञात है किसी भी देश की currency पर उस देश की सरकार या किसी वित्तीय संस्थान का नियंत्रण होता है किन्तु cryptocurrency पर कोई सरकार या संस्थान का अधिकार नहीं होता है.

इस लेख में हम जानेंगे कि – Cryptocurrency kya hai? Cryptocurrency के बारे में महत्वपूर्ण बातें, Cryptocurrency कितने प्रकार के होते हैं? क्या भारत में क्रिप्टोकरेंसी मान्य है?

Table of Contents

Cryptocurrency kya hai?

Cryptocurrency (क्रिप्टोकरेंसी) एक डिजिटल या आभासी मुद्रा है जिसका उपयोग एक्सचेंज के माध्यम के रूप में किया जाता है अर्थात इसके इस्तेमाल से कोई सामान या सर्विस ख़रीदा जा सकता है. क्रिप्टोकरेंसी से सामान या सर्विस के लिए ऑनलाइन एक्सचेंज किया जा सकता है.

इसमें बहुत ही उन्नत तकनीक का उपयोग किया जाता है ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि लेनदेन पूरी तरह सुरक्षित हो. क्रिप्टोकरेंसी decentralized digital money है जो कि ब्लॉकचेन तकनीक पर आधारित है. यह विनिमय का इंटरनेट आधारित माध्यम है जिसमें cryptography का इस्तेमाल transactions को सत्यापित करने के लिए किया जाता है.

Cryptocurrency के बारे में महत्वपूर्ण बातें

  • वस्तुओं और सेवाओं को खरीदने के लिए क्रिप्टोकरेंसी का उपयोग किया जा सकता है
  • क्रिप्टोकरेंसी में निवेश कर सकते हैं
  • यह डिजिटल विनिमय का माध्यम है
  • सामान्यतः मुद्राओं को उस देश की सरकार या संस्था द्वारा संचालित किया जाता है किन्तु क्रिप्टोकरेंसी किसी भी सरकार या संस्थान द्वारा नियंत्रित नहीं है.
  • ऐसा माना जाता है कि पहली क्रिप्टोकरेंसी Bitcoin थी जिसे जापान के Satoshi Nakamoto ने बनाया था.

Cryptocurrency कितने प्रकार के होते हैं?

वैसे तो Cryptocurrency कई प्रकार के होते हैं जो कि Peer-to-Peer Electronic System के रूप में कार्य करती है. यहाँ पर कुछ महत्वपूर्ण क्रिप्टोकरेंसी का नाम बताया जा रहा है जो निम्न है –

  • Bitcoin (BTC) – पहली क्रिप्टोकरेंसी
  • Ethereum (ETH)
  • Ripple (XRP)
  • Monero (XMR)
  • Litecoin (LTC)
  • Binance Coin (BNB)
  • Tether (USDT)

क्या भारत में क्रिप्टोकरेंसी मान्य है?

क्या भारत में क्रिप्टोकरेंसी मान्य है? यह एक महत्वपूर्ण सवाल है जो बहुत सारे लोगों के मन में उठता है. यदि आप भारत देश के निवासी हैं तो इस देश में Cryptocurrency को क़ानूनी मान्यता प्राप्त नहीं है. सिर्फ भारत ही नहीं दुनिया में और भी ऐसे कई देश हैं जहाँ इसप्रकार की currencies को मान्यता प्राप्त नहीं है.

प्राप्त आंकड़ों के अनुसार Bitcoin में निवेश करनेवालों की अच्छी – खासी जनसँख्या भारत देश में भी हैं और आपको बता दें कि इस देश में किसी central authority द्वारा बिटकॉइन को न तो विनियमित क्रिप्टोकरेंसी किन किन प्रकार की होती है किया जाता है और ना ही अधिकृत किया गया है इसलिए कहा जा सकता है कि यह स्वयं के जोखिम के साथ आता है.

हालाँकि बिटकॉइन पर भारत में किसी प्रकार का कोई प्रतिबन्ध नहीं है फिर भी इससे सम्बंधित यदि किसी प्रकार का कोई विवाद उत्पन्न हो जाए तो उसे हल करने के लिए कोई स्पष्ट दिशानिर्देश भी नहीं है. आनेवाले समय में हो सकता है इस देश में भी क्रिप्टोकरेंसी को लेकर कोई सकारात्मक पहल देखने को मिले या हो सकता है न भी मिले. अभी तो इसकी अवधारणा भारतीय बाजार के लिए बिल्कुल नयी है और इसके लिए इस देश में अलग से कोई नियम या कानून नहीं है.

अंत में मै आपसे इतना ही कहना चाहता हूँ कि क्रिप्टोकरेंसी की अवधारणा भारतीय बाजार के लिए बिल्कुल नयी है और इससे सम्बंधित कोई स्पष्ट दिशानिर्देश नहीं दिया गया है इसलिए पूरी पड़ताल के बाद ही इस क्षेत्र में आगे कदम बढ़ाना उचित होगा और शुरुआत छोटे स्तर से ही किया जाना चाहिए. यदि इसकी भविष्य की बात की जाये तो इसका उपयोग लगातार बढ़ता ही जा रहा है और हो सकता है कि आनेवाला समय में यह कोई महत्वपूर्ण भूमिका निभाये.

Cryptocurrency kya hai? इस विषय पर यदि आपको कुछ कहना है या आपके पास कोई सुझाव हो तो आप हमें कमेंट कर सकते हैं और यदि लेख पसंद आयी हो तो like, comment और share करें.

मैं इस हिंदी ब्लॉग का संस्थापक हूँ जहाँ मैं नियमित रूप से अपने पाठकों के लिए उपयोगी जानकारी प्रस्तुत करता हूँ. मैं अपनी शिक्षा की बात करूँ तो मैंने Accounts Hons. (B.Com) किया क्रिप्टोकरेंसी किन किन प्रकार की होती है हुआ है और मैं पेशे से एक Accountant भी रहा हूँ.

Cryptocurrency Meaning in Hindi – क्रिप्टो करेंसी क्या होती है, क्रिप्टो करेंसी कितने प्रकार की होती है?

Cryptocurrency Meaning in Hindi – क्रिप्टोकरेंसी मीनिंग इन हिंदी?

Crypto का Meaning Hindi में सीक्रेट या गुप्त व Currency का मतलब मुद्रा होता हैं, यानी कि Cryptocurrency Meaning in Hindi सिक्रेट मुद्रा होता है। क्रिप्टो करेंसी एक वर्चुअन करेंसी होती है, इसका मतलब कि यह फिजिकल रूप में उपलब्ध नही होती है; यानी कि इसे हम नोट और सिक्कों की तरह हाथ में नही ले सकते और ना ही इसे जेब में रख सकते हैं। क्योंकि यह सिर्फ ऑनलाइन इंटरनेट पर ही हमारे Digital Wallet में Digital form में ही रहता है। अतः CryptoCurrency को Online Currency भी कह सकते हैं। क्योंकि यह सिर्फ ऑनलाइन ही लेन-देन करने में सक्षम है।

Bitcoin meaning in hindi – बिटकॉइन का मतलब क्या होता है?

पहली बार Crypto Currency के रूप में Bitcoin को ही 2009 में इंट्रोड्यूज किया गया था। Bitcoin का आविष्कार सातोशी नकामोतो नामक एक engineer ने 2008 में किया था, और 2009 में open source software के रूप में इसे जारी किया गया था। और अभी तक की सबसे पॉपुलर Cryptocurrency Bitcoin ही है। और बिट कॉइन को 21 मिलियन ही प्रोड्यूस किया गया है। और यह संख्या फिक्स है अतः नोट की तरह इसको और ज्यादा नही छापा जा सकता है। इसी वजह से Bitcoin की कीमत तेजी से उपर नीचे होती रहती है। जब बाजार नें इसकी मांग बढ़ती है तो बिट कॉइन कीं कीमत बढ़ जाती है, तथा जब मांग घटती है तो कीमत भी घटती जाती है। जैसा की आपको पता ही होगा कि हमारी भारतीय मुद्रा हो या फिर अमेरिकी डॉलर, चाइनीज यूरो आदि सभी करेंसी पर सरकार का पूरा-पूरा कंट्रोल होता है। लेकिन बिट कॉइन जैसे क्रिप्टो करेंसी पर ऐसा कोई भी कंट्रोल नही होता है। इस Virtual Currency पर गवर्मेन्ट अथोरिटी जैसे सेंट्रल बैंक्स, किसी देश या एजेंसी का कोई कंट्रोल नही होता है। यानी की Cryptocurrency ट्रेडिशनल बैंक को फॉलो नही करती है। यह एक Computer Wallet से दूसरे Computer Wallet तक Transfer होता रहता है। क्रिप्टो करेंसी में ब्लॉक चैन टेक्नोलॉजी का उपयोग किया जाता हैं। जिससे यह एकदम सिक्योर हो जाती है।

क्या बिटकॉइन भारत में वैध है?

शुरुआत के समय में तो भारत में बिटकॉइन लीगल था लेकिन कुछ सबय पहले बीच में भारत में बिट कॉइन को RBI ने 2018 में वैन लगा दिया था। क्योंकि RBI इसे illegal मानती थी। लेकिन फिर मार्च 2020 में सुप्रीम कोर्ट द्वारा इस वैन को हटा दिया गया। और इसी कारण से भारत मे बिटकॉइन की पॉपुलिरिटी इतनी नही थी। लेकिन अब भारत में भी क्रिप्टो करेंसी का यूज लीगल हो गया है। भारत में फिर 2022 का बजट पेस किया गया जिसमें Bitcoin जैसी करेंसी पर 30% का Tax लगाया गया है। आप जो भी इन करेंसी से पैसा कमाएं गे उसका 30% टैक्स सरकार को देना होगा।

Cryptocurrency ke fayde – क्रिप्टो करेंसी के फायदे क्या है?

इसमें आप आसानी से और फटा-फट ट्रांजेकशन कर सकते हैं।
क्रिप्टोकरेंसी से इंटरनेशनल ट्रांजेक्सन चुटकियो में किए जा सकते हैं।
आपको न के बराबर ट्रांजेक्शन चार्ज देना पड़ता हैं। इसमें कोई भी थर्डपार्टी नही होती है, और ज्यादा सिक्योर होती है क्योंकि इसमें ब्लॉकचैन टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया जाता है।
Cryptocurrency का कंट्रोल सरकार या किसी अन्य एजेंसी के पास नही होता है। जिसके कारण हम जब चाहे जैसे चाहे इसका इस्तेमाल कर सकते हैं।
क्रिप्टो करेंसी सीक्रेट होती है इसका मतलब किसी को भी नही पता होता कि आपके पास कितनी करेंसी है। आप इसका कहाँ पर यूज करते है। सभी
जानकारिया गुप्त होती है। इसी वजह से इसका उपयोग कंपनिया खरीद बेच करने में करती हैं।

Cryptocurrency ke nuksan – क्रिप्टो करेंसी के नुकसान क्या क्या है?

सबसे बड़ा नुकसान यह है कि इसमें कोई गवर्मेंट अथोरिटी नही है और कोई थर्ड पार्टी एजेंसी नही है, तो अगर कोई फ्रॉड होता है तो कोई भी सपोर्ट नही मिलता है।

यह Eco-Friendly नही है क्योंकि इसे सिक्योर बनाने के लिए बहुत सारे कंप्यूटर और रिसोर्सेस का इस्तेमाल किया जाता है। जिसकी वजह से इलेक्ट्रिसिटी बहुत ज्यादा खर्च होती है। लेकिन हो सकता है कि भविष्य में नई टेक्नोलॉजी आ जाए।

चूकि यह सीक्रेट करेंसी है तो इसका इस्तेमाल Unethical Users भी करते हैं। जिसकी कोई डिटेल प्राप्त नही की जा सकती है।

Q. Bitcoin का आविष्कार किसने और कब किया था?
Ans. 2008 में Bitcoin का आविष्कार सातोशी नकामोतो नामक एक engineer ने किया था।

Cryptocurrency: जानिए सभी करेंसी के नाम और उनकी कीमतों के बारे में

Cryptocurrency: जानिए सभी करेंसी के नाम और उनकी कीमतों के बारे में

आजकल हर जगह Cryptocurrency का खूब जिक्र किया जा रहा है. वहीं हर कोई व्यक्ति जानना चाहता है, कि आखिर क्यों यह इतने कम समय में एक महत्वपूर्ण चीज बन गई है. आपको बता दें, की दुनिया में हर जगह पर Cryptocurrency को लेकर लोगों के बीच काफी उत्साह है. अभी कुछ लोगों को इसके बारे में थोड़ी बहुत जानकारी है. लेकिन अभी, उन्हें यह नहीं पता कि इसका इस्तेमाल कैसे करना है.

आपको बता दें, कि Cryptocurrency डिजिटल दुनिया की देन है. आजकल की डिजिटल दुनिया में कई तरह की खोज की जा रही हैं. इन्हीं खोजों में से एक खोज का नाम Cryptocurrency है. इसके नाम से पता चल रहा है, कि यह किसी प्रकार की मुद्रा या करेंसी है. इसे एक ई-करेंसी या डिजिटल करेंसी के रूप में देखा जाता है. बता दें, कि यह अन्य करेंसियों जैसी नहीं होती है. इन करेंसी का लेन-देन कंप्यूटर के माध्यम से ही किया जाता है. आप भी Cryptocurrency को यूरो, डॉलर या फिर किसी भी मुद्रा से खरीद सकते हैं.

Cryptocurrency के इस्तेमाल से दो लोगों के बीच डिजिटली हो रहे लेन-देन को सुरक्षित तरीके से किया जा सकता है. ई-करेंसी को, डिजिटल या वास्तविक करेंसी के आदान-प्रदान के लिए क्रिप्टोग्राफी का प्रयोग किया जाने लगा है. जिसके कारण ई-करेंसी, डिजिटल या वास्तविक करेंसी को Cryptocurrency कहा जाता है.

जानिए प्रसिद्ध Cryptocurrency के नाम की सूची और उनकी कीमत

आपकी जानकारी के लिए बता दें, कि दुनिया में आज कई तरह की Cryptocurrency मौजूद हैं. इन Cryptocurrency को लोगों द्वारा खूब खरीदा भी जा रहा है. जानिए कुछ ऐसी Cryptocurrency के बारे में.

बिटकॉइन(Bitcoin): दुनिया की सबसे पहले बनाई जाने वाली Cryptocurrency या डिजिटल करेंसी की बात करें तो वो बिटकॉइन है. बिटकॉइन Cryptocurrency की खोज साल 2009 में की गई थी. आपको बता दें, इस करेंसी की खोज एक जापान के निवासी द्वारा की गई थी, जिसका नाम Satoshi Nakamoto बताया जाता है. इस वक्त 1 बिटकॉइन की कीमत भारतीय रुपए के अनुसार लगभग 33,85,337.29 रुपए है.

लाइटक्वाइन (Litecoin): लाइटक्वाइन एक तरह की Cryptocurrency है. आपको बता दें, कि इसे Charles Li द्वारा बनाया गया है. वहीं इस मुद्रा का चिह्न LTC है. इस क्रिप्टोकरेंसी को साल 2011 में बाजार में उतारा गया था. इस वक्त एक 1 LTC की कीमत भारतीय रुपए के अनुसार करीब 13,296.75 रुपए है.

इथेरियम (Ethereum): इथेरियम को 2015 में शुरू किया गया था. इस मुद्रा को Vitalik Buterin द्वारा बनाया गया है. आपको बता दें, कि साल 2016 में इथेरियम दो भागों में बाँट दिया था. जिसमें से एक भाग इथेरियम के नाम से जाना जाता है, और एक इथेरियम क्लासिक के नाम से. इथेरियम Cryptocurrency का चिह्न ETH है. वहीं इस मुद्रा के मूल्य की बात करें तो 1 ETH का भारतीय मूल्य 2,46,788.32 रुपए है.

इथेरियम क्लासिक क्रिप्टोकरेंसी का चिह्न ETC है. भारतीय रुपए की कीमत के हिसाब से एक ETC की कीमत 531.69 रुपए है. इस मुद्रा से जुड़ी एक ethereumclassic.github.io वेबसाइट भी है जहां पर आपको इससे जुड़ी कई सारी जानकारी मिल जाएंगी.

रिपल (Ripple): साल 2012 से शुरू हुई रिपल करेंसी को XRP चिह्न से जाना जाता है. इस Cryptocurrency को Chris Larsen और Jed McCaleb द्वारा बनाया गया है. वहीं इस Cryptocurrency की कीमत की बात करें, तो एक XRP की भारतीय रुपए में कीमत केवल 83.39 रुपए की है.

बिटकॉइन कैश (बीसीएच): बिटकॉइन कैश का निशान BCH है. 1 BCH Cryptocurrency की कीमत भारतीय क्रिप्टोकरेंसी किन किन प्रकार की होती है रुपए के हिसाब से 45,784.33 रुपए है. इस करेंसी को अगस्त, 2017 को शुरू किया गया है.

मॉनिरो (Monero): मॉनिरो भी एक तरह की Cryptocurrency है, जिसको XMR चिह्न से जाना जाता है. इस मुद्रा को 2014 में बाजार में लाया गया था. मॉनिरो को Monero Core द्वारा बनाया गया है. वहीं 1 XMR की कीमत इस समय भारत में 19,344.91 रुपए है.

एनईएम (NEM): इस Cryptocurrency को 2014 में शुरू किया गया था. इसकी एक वेबसाइट भी है जो कि https:क्रिप्टोकरेंसी किन किन प्रकार की होती है //nem.io/ है. वहीं इस मुद्रा का चिन्ह XEM है. भारत में इस समय एक XEM की कीमत महज 25.67 रुपए है.

डैश (DASH): इस Cryptocurrency को 2014 में बाजार में लाया गया है. डैश को बनाने के पीछे Ivan Dafield और Kyle Hagan की मेहनत जुड़ी हुई है. वहीं इस Cryptocurrency को DASH का चिह्न दिया गया है. 1 DASH भारतीय रुपए के हिसाब से 14,878.81 रुपए के बराबर है.

भारत में Cryptocurrency को कानूनी रुप से मान्यता प्राप्त नहीं है. यद्यपि आप अभी भी क्रिप्टो एक्सचेंजों के माध्यम से Cryptocurrency खरीद सकते हैं.अभी कोई आधिकारिक नियामक ढांचा नहीं होने कि वजह से क्रिप्टो इनोवेशन पर रोक है. अप्रैल 2018 में, RBI ने बैंकों और अन्य वित्तीय संस्थानों को Cryptocurrency लेनदेन का समर्थन करने से प्रतिबंधित कर दिया. हालाँकि, मार्च 2020 में, भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने असंवैधानिक होने के आधार पर प्रतिबंध को हटा दिया.

भारत का पहला क्रिप्टोकरेंसी इंडेक्स हुआ लॉन्च: जानें, IC15 क्रिप्टो इंडेक्स कैसे काम करता है और आपको कैसे मदद करेगा

क्रिप्टोकरेंसी एक प्रकार की डिजिटल कैश प्रणाली है। यह एक निजी कंप्यूटर चेन से जुड़ी हुई होती है और कंप्यूटर एल्गोरिदम पर बनी है। क्रिप्टोकरेंसी पर किसी भी देश या सरकार का कोई नियंत्रण नहीं होता है। कई देश इसे लीगल कर चुके हैं।

क्रिप्टोकरेंसी इंडेक्स

भारत का पहला क्रिप्टोकरेंसी इंडेक्स IC15 हुआ लॉन्च

दुनिया भर में तेजी से बढ़ते क्रिप्टोकरेंसी के व्यापार को देखते हुए हाल ही में क्रिप्टो सुपर ऐप क्रिप्टोवायर (CryptoWire) ने देश का पहला क्रिप्टोकरेंसी सूचकांक (Cryptocurrency Index) आईसी15 लॉन्च किया है। हालाँकि, क्रिप्टोकरेेंसी को रेग्युलेट करने के लिए केंद्र सरकार ‘क्रिप्‍टोकरेंसी एंड रेग्‍युलेशन ऑफ ऑफ‍िशियल डि‍जिटल करेंसी बिल 2021′ नाम के विधेयक को संसद के बजट सत्र में पेश करने की तैयारी में है। मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि यह बिल ‘कुछ अपवादों’ के साथ सभी प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी पर बैन लगाने की बात करता है।

अगर क्रिप्टोवायर के IC15 की बात करें तो यह सूचकांक दुनिया के प्रमुख क्रिप्टो बाजारों (एक्सचेंज) पर सूचीबद्ध एवं व्यापक रूप से कारोबार करने वाली शीर्ष 15 क्रिप्टोकरेंसी के प्रदर्शन पर नजर रखेगा करेगा। आइए आपको बताते हैं कि क्रिप्टोकरेंसी सूचकांक आईसी15 क्या है और यह किस प्रकार से काम करेगा?

कैसे काम करेगा क्रिप्टो इंडेक्स IC15?

सूचकांक आईसी15 में बिटकॉइन, एथेरियम, एक्सआरपी, लाइटकॉइन, बिनांस कॉइन, सोलाना, टेरा और चेनलिंक जैसी क्रिप्टोकरेंसी शामिल हैं। क्रिप्टोवायर ने एक इंडेक्स गवर्नेंस कमेटी (Index Governance Committee) का गठन किया है, जिसमें डोमेन एक्सपर्ट, कारोबारी और शिक्षाविद शामिल हैं। ये मार्केट कैपिटलाइजेशन (Market Capitalization) के मामले में टॉप 400 क्वाइंन्स में से क्रिप्टोकरेंसी का चयन करेंगे।

समीक्षा अवधि के दौरान एक क्रिप्टोकरेंसी का कारोबार कम-से-कम 90 प्रतिशत होना चाहिए और ट्रेडिंग वैल्यू के मामले में 100 शीर्ष करेंसी में होनी चाहिए। सर्कुलेटिंग मार्केट कैपिटलाइज़ेशन के मामले में योग्य क्रिप्टोकरेंसी शीर्ष 50 में भी होनी चाहिए। समिति शीर्ष 15 क्रिप्टोकरेंसी का चयन करेगी। सूचकांक का आधार मूल्य 10,000 तय किया गया है और आधार तिथि एक अप्रैल 2018 है।

यह सूचकांक 80 प्रतिशत से अधिक बाजार गतिविधियों की निगरानी करेगा। इस प्रकार, यह संबंधित बाजार की वास्तविक स्थिति को सामने लाएगा। इससे पारदर्शिता बढ़ेगी। इसके अलावा, क्रिप्टोवायर की सूचकांक संचालन समिति हर तिमाही में इसे पुनः संतुलित करेगी और उस पर पैनी नजर रखने के अलावा उसे क्रियान्वित करेगी।

क्रिप्टोवायर के प्रबंध निदेशक जिगीश सोनागारा ने बताया, “यह न केवल कमाई से पहले सीखने की बेहतरीन पहल है, बल्कि एक शक्तिशाली टूल है, जो बिजनेस में आपको अपना लक्ष्य हासिल करने में मदद करेगा। हमारा दृष्टिकोण संभावनाओं का मूल्यांकन करने और निर्णय लेने के लिए सभी संभव उपकरण पेश करके बाजार के विकास को सुविधाजनक बनाना और जोखिम क्रिप्टोकरेंसी किन किन प्रकार की होती है को काफी हद तक कम करना है।”

क्या है क्रिप्टोकरेंसी

बता दें कि क्रिप्टोकरेंसी एक प्रकार की डिजिटल कैश प्रणाली है। यह एक निजी कंप्यूटर चेन से जुड़ी हुई होती है और कंप्यूटर एल्गोरिदम पर बनी है। क्रिप्टोकरेंसी पर किसी भी देश या सरकार का कोई नियंत्रण नहीं होता है। कई देश इसे लीगल कर चुके हैं। क्रिप्टोकरेंसी को आज सबसे आसान और लोकप्रिय तरीका क्रिप्टो एक्सचेंज कहते हैं, इसके जरिए इसे खरीदना आसान हो गया है।

दुनिया भर में सैकड़ों क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज काम कर रहे हैं। भारत में काम कर रहे वजीरएक्स, जेबपे, क्वाइनस्विच कुबेर, क्वाइन डीसीएक्स गो समेत कई एक्सचेंज संचालित है, जहाँ से बिटक्वाइन, इथेरियम, टेथर और डॉजक्वाइन समेत दुनिया भर की डिजिटल मुद्राएँ खरीदी जा सकती हैं।

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